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मनोज कॉमिक्स विशेषांक -३४ -त्रिकालदेव और मटकाशीश
ये कॉमिक्स भी उन कॉमिक्स में से है जो कही अपलोड नहीं हुई है। वैसे तो मनोज कॉमिक्स के लगभग सभी विशेषांक अपलोड किए जा चुके है। जो कुछ बचे है ये उनमे से एक था। त्रिकालदेव का चरित्र ही-मैन से प्रभावित था जैसे की भोकाल है। पर एक बात तो माननी पड़ेगी की कहानी के लिहाज़ से ये भोकाल पर भारी था। मै अगर अपनी बात करूँ तो बस इतना कह सकता हूँ कि अगर भोकाल और त्रिकालदेव में से कोई एक कॉमिक्स पढ़नी हो तो त्रिकालदेव पढूंगा।
कहानी के लिहाज़ से ये कॉमिक्स बेहतर है। विशेषांक को स्कैन करना हमेशा कठिन होता है। एक तो पेज ज्यादा होते है ऊपर से उनके पिन खोलने का मन नहीं करता। पर जैसे की मेरी आदत है कि कॉमिक्स ऐसी स्कैन होनी चाहिए कि फिर किसी को दुबारा स्कैन न करना पड़े।
कहानी शुरू होती है पाताल के राजा मकड़ा मंकोट से जो शैतान की पूजा के लिए इंसान की बलि चढ़ाता है। अगर आप त्रिकालदेव की कॉमिक्स पढ़ रहे है तो आप ओनस और थिम्पू से जरूर परचित होंगे। "त्रिकालदेव और ओसका" में आपने उनके त्रिकालदेव से मिलने की घटना के बारे में पढ़ा होगा। पर वो कौन है और उनको अपना ग्रह क्यों छोड़ना पड़ा ये आप इस कहानी में जान पाएंगे। त्रिकालदेव अपने इन मित्रों की कैसे मदद करता है। ये ही इस कहानी का मूल आधार है।
बहुत दिन हो गए मैंने अपने विचार यहाँ प्रकट नहीं किये। इसके कई कारण है। पर आज मै कुछ न कुछ जरूर लिखूंगा। पहले लिखने से पहले मै ध्यान देता था की लोगो को अच्छा लगेगा या नहीं लगेगा। अब सिर्फ ये ध्यान देता हूँ कि मुझे अच्छा लगेगा की नहीं लगेगा।
आज कल देश मुख्यता दो विचारधारा में बटा है। या तो आप मोदी भक्त / देशभक्त /साम्प्रदायिक है या तो आप मोदी विरोधी/देशद्रोही/सेक्युलर है। इसका मुख्या कारण मुसलमानो का कॉग्रेस के समय में मिलने वाला विशेषाधिकार था जो अब नहीं मिल रहा है। आप भारत के नागरिक है। इस कारण जितना अधिकार आप का बनता सरकार चुनने का उतना ही हमारा भी है। अगर हमने अपनी पसंद की सरकार चुन ली है तो उसका आदर करें। इन सबसे ज्यादा कुत्तें तो नेता है। मुसलमान वोट एकजुट है तो उसको पाने के लिए हिन्दुओ को मारने को भी तैयार हो जाते है। इन वोट के लिए भारत मुर्दाबाद भी चलेगा, कश्मीर की आज़ादी भी चलेगा। सेना की बुराई भी चलेगी। इन सब के लिए मुशलमान दोसी है। जो देश विरोधी बात करता है आप उसको वोट देते हो तो आप ही दोसी होंगे। पर अब लोग सेक्युलर होने का मतलब समझने लगे है। यदि आप ने इन सब का साथ न छोड़ा तो फिर हम जैसे हिन्दू आप का साथ छोड़ देंगे। फिर ऐसी सरकार बनेगी जो शिवसेना व बजरंगदल की होगी जो आप को देश में जीने नहीं देगी। मुख्यधारा में लौटे। पुलिस में जाएँ। सेना में जाएँ और जो सरकार देश की जनता ने बनायीं है उसका आदर करें। सिर्फ बुराई करने से बचे। अगर गलत को गलत कहे तो सही को सही भी कहें।
ये सभी मेरे अपने विचार है और मेरे अपने ब्लॉग पर है। अगर आप असहमत है तो शालीनता से अपनी बात रखे। आज के लिए इतना ही। जल्द ही मिलता हूँ नयी कॉमिक्स के साथ
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