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किंग कॉमिक्स- "खिलाडी"
ये सोच कर कितना आश्चर्य होता कि कभी कॉमिक्स की इतनी मांग थी की राज कॉमिक्स जैसे बड़े प्रकाशन ने भी दूसरें नाम से कॉमिक्स छापनी शुरु कर दी थी जिससे वो कॉमिक्स को भारी मांग को पुरा कर सके। किंग कॉमिक्स राज कॉमिक्स का ही एक उपकर्म है और ये उन नयी कॉमिक्स प्रकाशन तरफ के झुकाव से आपने पाठक को बचाने के लिये इस कॉमिक्स प्रकाशन को शुरु किया था।
वैसे तो मै राज कॉमिक्स और किँग कॉमिक्स स्कैन और अपलोड कारना पसंद नही करता पर आज कल जो राज कॉमिक्स की पाठक लूटो पॉलिसी बना रखी है उससे मैने भी अपनी राज और किंग कॉमिक्स ना स्कैन कारने का जो इरादा था उसे फिलहाल बदल दीया है और ये तीन अपलोड कर रहा हूँ पर आगे के बारे मे मै अभी कुछ नहीं कह सकता।
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